पुराना कुछ बीत रहा
तो क्या
उसे भूलेंगे नही
कुछ अच्छी चीजे होंगी
और कुछ गलतियों की पोटली
सब को बाँध कर सहेज कर
उस में औ नया एहसास भर देंगे
लड़खडाए कदम फिर से चलेंगे
नए उत्साह के साथ
नई उम्मीद के निम् तले
ताकि पिचली कड़वाहट याद कर
कुछ मीठे रिश्ते बन सके
आने वाले नव पर्व पर कुछ नए
ख्वाबो को अंजाम दे सके ........
नारी समूह की और से सभी को नया साल मुबारक
© 2008-09 सर्वाधिकार सुरक्षित!
सामाजिक कुरीतियाँ और नारी , उसके सम्बन्ध , उसकी मजबूरियां उसका शोषण , इससब विषयों पर कविता
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3 comments:
nayaa saal aap ko bhi shubh ho mehak aur ishwar sawe kamna hae ki desh kae liyae yae saal sukh shanti aur tarraki laayae
बहुत ही अच्छा कविता थी ...नव वर्ष की आपको हार्दिक शुभकामनाएं
wish you a happy new year.. nice feelings
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